दिव्यांग महागठबंधन की संयुक्त निदेशक दिव्यांगजन सशक्तिकरण के साथ हुई वार्ता विफल।
28 को विशेष सचिव से होगी वार्ता।
30 जुलाई को मुख्यमंत्री कार्यालय विधानसभा पर होगा प्रदर्शन।
पेंशन बढ़ाने, नौकरी रोजगार स्वास्थ शिक्षा सुरक्षा की सौ फीसदी गारंटी देने के लिए सरकार नहीं है सहमत।
भारत समाचार एजेंसी
हफ़ीज अहमद खान
कानपुर नगर उत्तर प्रदेश।
दिव्यांग महागठबंधन की वार्ता दिव्यांगजन सशक्तिकरण निदेशालय के संयुक्त निदेशक के साथ हुई। महागठबंधन ने 27 सूत्रीय मांगों को लेकर विधानसभा पर प्रदर्शन की घोषणा की है । आन्दोलन को देखते हुए दिव्यांगजन सशक्तिकरण निदेशालय ने 25 व शासन ने 28 जुलाई को वार्ता के लिए पत्र भेजा था।
दिव्यांग महागठबंधन के महासचिव वीरेन्द्र कुमार ने बताया कि हम दिव्यांगजनों के लिए नौकरी रोजगार स्वास्थ शिक्षा सुरक्षा की सौ फीसदी गारंटी, पेंशन पांच हजार रुपए महीना, नौकरियों में आरक्षण कोटा पूरा करवाने, आयुष्मान अन्त्योदय कार्ड बनवाने, फेरी नीती के तहत चौक चौराहों पर दुकान व स्थान उपलब्ध कराने सहित 27 सूत्रीय मांगों को निदेशालय के अधिकारियों के सामने रखा है। अधिकारी पेंशन बढ़ाने के मामले में स्पष्ट जबाब नहीं दे पाए, नौकरियों में आरक्षण कोटा पूरा करने, नौकरी रोजगार स्वास्थ शिक्षा सुरक्षा की सौ फीसदी गारंटी देने के मामले में भी कोई स्पष्ट जबाब नहीं मिला है। लेखपाल व मुख्य सेविका अभ्यर्थियों को नौकरी दिलाने में भी कोई ठोस जबाब नहीं मिला। इसलिए वार्ता विफल रही।
वीरेन्द्र कुमार ने कहा कि 30 जुलाई को मुख्यमंत्री कार्यालय विधानसभा पर जोर दार प्रर्दशन किया जाएगा। वीरेन्द्र कुमार ने आरोप लगाया कि हमारी मांगे अलग अलग विभागों से संबंधित है। दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग अकेले कुछ भी करने कि स्थिति में नहीं है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री व राज्यपाल से मुलाकात का लम्बे समय से समय मांग रहे हैं लेकिन आज तक समय नहीं मिला है। मुख्यमंत्री के नीचे के अधिकारी हमारी मांगों पर कुछ नहीं कर सकते।
आज कि वार्ता में जयनाथ यादव संयुक्त निदेशक दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग, महागठबंधन के महासचिव वीरेन्द्र कुमार, अध्यक्ष मनीष प्रसाद, कोषाध्यक्ष जितेन्द्र वर्मा, अखिल उत्तर प्रदेश बधिर संघ के नीलेश कुमार शुक्ला, रवी शर्मा, वेद प्रकाश, विकलांग कल्याण समिति के मुकेश कुमार, लेखपाल अभ्यर्थी संघ से राम निहाल द्विवेदी, दिव्यांग विकास सोसायटी अजीत कुमार आदि शामिल थे।