कोलकाता,मुजफ्फरपुर,उत्तराखंड में हुए दुष्कर्म व हत्या के विरोध में भाकपा-माले का प्रतिवाद मार्च
हाजीपुर (वैशाली) भाकपा माले,ऐपवा, और इंसाफ मंच के राज्यव्यापी आह्वान पर आज हाजीपुर नगर के अक्षयवटराय स्टेडियम स्थित वैशाली कला मंच से कार्यकर्ताओं ने शहर में प्रतिवाद मार्च निकालकर गांधी चौक पर प्रतिवाद सभा किया।सबसे पहले वैशाली कला मंच पर दैनिक भास्कर के राजापाकर संवाददाता, महुआ अनुमंडल पत्रकार संघ के अध्यक्ष, मथुरा प्रसाद बालिका उच्च विद्यालय राजापाकर के शिक्षक, अरुण कुमार श्रीवास्तव के असामयिक निधन पर दु:ख व्यक्त करते हुए 2 मिनट की मौन श्रद्धांजलि दी गई।श्रद्धांजलि सभा को संबोधित करते हुए भाकपा-माले के जिला सचिव विशेश्वर प्रसाद यादव ने कहा कि अरुण बाबू निर्भीक पत्रकार थे।उनकी कलम हमेशा जनता के पक्ष में उठती थी।आमतौर पर पुलिस जुल्म के खिलाफ कोई पत्रकार लिखना नहीं चाहता परंतु अरुण बाबू हमेशा सच्चाई के पक्ष में खड़ा रहे।किसी का भी दबाव उन्होंने स्वीकार नहीं किया।श्रद्धांजलि सभा में उपस्थित लोगों ने उनके परिजनों के दु:ख के इस घड़ी में साहस और धैर्य धारण करने की अपील किया। ताकि अरुण बाबू की आत्मा को शांति मिल सके।पत्रकार
अरुण कुमार श्रीवास्तव को श्रद्धांजलि देने के बाद भाकपा माले कार्यकर्ताओं ने कोलकाता में प्रशिक्षु डॉक्टर की दुष्कर्म के बाद हत्या,उत्तराखंड में नर्स के साथ दुष्कर्म और हत्या तथा मुजफ्फरपुर के पारु में मां-बाप के सामने से एक दलित बेटी को उठा ले जाने और दुष्कर्म के बाद अमानवीय तरीके से हत्या के खिलाफ शहर में प्रतिवाद मार्च निकालने के बाद गांधी चौक पर प्रतिवाद सभा किया।सभा को संबोधित करते हुए नेताओं ने कहा कि कार्य स्थल हो या घर महिलाएं कहीं भी सुरक्षित नहीं हैं।मोदी जी की सरकार कठुआ से लेकर हाथरस तक हर जगह महिला हिंसा के आरोपियों को संरक्षण देने का काम करती रही है।यहां तक की पहलवान बेटियों के साथ यौन शोषण करने वाले बृजभूषण शरण सिंह को भी बचाने का काम किया है।देश की महिलाओं ने विगत लोकसभा चुनाव में उन्हें सबक सिखाने का काम किया।फिर भी वह महिला हिंसा के आरोपियों को संरक्षण देने से बाज नहीं आ रहे हैं।नेताओं ने कहा कि मुजफ्फरपुर के पारु में नाबालिग दलित बेटी का दुष्कर्म के बाद हत्या किया गया परंतु वहां के एसपी दुष्कर्म की घटना को छिपाना चाहते हैं।आखिर उस दलित बेटी को किस कारण अपराधी ने मां-बाप के सामने से उठाया था।अपहरण के बाद फिरौती की कोई मांग नहीं थी।जगह जमीन का कोई विवाद नहीं था।तो दुष्कर्म के अलावा क्या स्वार्थ था अपराधियों का।वहां के जिला प्रशासन के दबाव में इंजरी रिपोर्ट को भी बदल दिया गया है।नेताओं ने पोस्टमार्टम और जख्म रिपोर्ट तथा उसके वीडियोग्राफी को सार्वजनिक करने की मांग की है।मृतक के परिजन को 10 लाख रुपया मुआवजा और सुरक्षा प्रदान करने की भी मांग नेताओं ने की है।ड्यूटी पर तैनात डॉक्टर हो या नर्स उनका सुरक्षा देना सरकार का दायित्व है।पिछले कई दिनों से स्वास्थ्य कर्मियों देशव्यापी आंदोलन जारी है परंतु भारत सरकार सुरक्षा के बारे में कोई मुकम्मल नीति घोषित नहीं कर रही है।ना ही डॉक्टर और नर्स के दुष्कर्मियों और हथियारों को गिरफ्तार किया जा सका है।नेताओं ने कहा कि देश की महिलाएं ऐसी सरकार को जो महिला हिंसा के आरोपियों को संरक्षण देने का काम करती है सजा देने का काम करेगी।भाकपा माले जिला सचिव विशेश्वर प्रसाद यादव की अध्यक्षता में आयोजित सभा को पार्टी जिला कमेटी सदस्य रामबाबू भगत,ऐपवा जिला अध्यक्ष कुमारी गिरजा पासवान,इंसाफ मंच के जिला संयोजक राजू वारसी,किसान महासभा के जिला सचिव गोपाल पासवान,मजिंदर शाह, रामनाथ सिंह, रामजतन राय,आशा देवी,पूनम देवी,चंदा देवी,निर्मला देवी,मदनू देवी सहित अनेक नेताओं ने संबोधित करते हुए महिला हिंसा के विरोध में आगे भी संघर्ष जारी रखने का संकल्प लिया।