मिस्बाह ने बिना देखे चौदह घंटे में सुनाया पूरा क़ुरआन-ए-पाक।
गोरखपुर, उत्तर प्रदेश।
रसूलपुर के रहने वाले मो. फिरोज आलम व सबीना खातून के 13 वर्षीय पुत्र मोहम्मद मिस्बाह रज़ा ने रविवार को बिना देखे करीब चौदह घंटे में पूरा क़ुरआन-ए-पाक कारी मो. सरफुद्दीन व हाफिज रहमत अली निजामी को सुनाया। मदरसा दारूल उलूम हुसैनिया दीवान बाजार में पढ़ने वाले मिस्बाह के जज्बे को सभी सलाम करते नज़र आए। मिस्बाह को पूरा क़ुरआन-ए-पाक याद है। मिस्बाह के माता-पिता ने उनकी हौसला-अफजाई की और जरूरी संसाधन मुहैया करवाया। पूरा क़ुरआन-ए-पाक याद करवाने में अहम भूमिका निभाई।
कारी सरफुद्दीन व हाफिज रहमत अली ने कहा कि क़ुरआन-ए-पाक को याद करने के साथ-साथ उसके अहकाम सीखना भी बहुत जरूरी है। हम उम्मीद करते हैं कि मिस्बाह आगे भी दीनी तालीम का सिलसिला जारी रखेंगे और कामयाबी हासिल करेंगे।