मजदूर किसान और जनविरोधी नीतियों के खिलाफ़ मजदूरों का पैदल मार्च।
अमित कुमार त्रिवेदी
कानपुर नगर उत्तर प्रदेश।
केंद्रीय श्रम महासंघों के राष्ट्रीय आव्हान पर केंद्र सरकार की श्रम एवम जनविरोधी नीतियों के विरूद्ध श्रमिकों ने गोल चौराहा मेडिकल कॉलेज से पैदल मार्च कर राष्ट्रपति को सम्बोधित ज्ञापन श्रमायुक्त उत्तर प्रदेश को दिया।
केंद्रीय ट्रेड यूनियनों के संयुक्त मंच के घटक इंटक, एटक, एच एम एस, सीटू, ऐक्टू, ए आई यू टी यू सी, टी यू सी सी एवम स्वतंत्र फेडरेशन के सैकड़ों की संख्या में कार्यकर्ताओं ने सरकार की श्रम और जनविरोधी नीतियों के खिलाफ़ गोल चौराहा मेडिकल कॉलेज अमर शहीद चंद्र शेखर आज़ाद प्रतिमा स्थल पर एकत्रित हो कर शहीदों को नमन किया तत्पश्चात सरकार के खिलाफ़ नारे, प्ले कार्ड्स तथा बैनर झंडों से सुसज्जित पंक्तिबद्ध होकर जी टी रोड होते हुए श्रमायुक्त कार्यालय पर प्रदर्शन कर 25 सूत्रीय ज्ञापन देकर मांग की गई कि:-
*1. सभी किसानों को सभी फसलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य सकल सी-2 लागत का डेढ़ गुना सुनिश्चित किया जाए। इस रेट पर सरकारी खरीद की कानूनी गारंटी की जाए। सरकारी खरीद में किसानों से 100 रुपये प्रति क्विंटल की रिश्वत और 40 रुपये तौल खर्च की वसूली बंद हो।
2. सभी किसानों और मजदूरों को कर्ज मुक्त किया जाए, जिसका भाजपा ने इसका वादा किया था। माइक्रो फाइनेन्स समूह द्वारा दिए जा रहे कर्ज की ब्याज दर, किसान क्रेडिट कार्ड की ब्याज दर के बराबर, 4 फीसदी हो।
3. खाद सब्सिडी बहाल हो, बढ़े दाम वापस हों, बीज व कीटनाशक दवाओं के दाम आधे हों। ट्रैक्टर व अन्य खेती की मशीनों व पुर्जों पर जीएसटी हटाया जाए।
4. आवारा पशुओं की समस्या हल की जाए और किसानों के नुकसान की भरपाई की जाए।
5. गांव व बाजारों में सभी को 300 यूनिट बिजली मुफ्त दी जाए, कनेक्शन काटना बंद हो, पुराने बिल माफ किये जाएं और प्रीपेड मीटर योजना रद्द की जाए। घाटे की वसूली अमीरों से की जाए।
6. वृद्धावस्था व विधवा पेंशन 10,000 रुपये मासिक किया जाए।
7. आशा, आंगनवाड़ी, रसोईया, ग्राम सहायक और सभी सरकारी और गैर सरकारी रोजगार और नौकरियों में न्यूनतम मजदूरी 26,000 रुपये प्रतिमाह की जाए। मनरेगा में 200 दिन काम और मजदूरी दर 600 रुपये रोज किया जाए। आशा, आंगनवाड़ी, रसोईया, ग्राम सहायक आदि को सरकारी कर्मी घोषित किया जाए।
8. गांव में कृषि संबंधित, खाद्यान्न प्रसंस्करण तथा अन्य उद्योगों का विकास हो, जो कापरोरेट पूंजी से मुक्त हो।
9. लखीमपुर खीरी के अपराधी भाजपा नेता अजय मिश्र ‘टेनी’ पर केस दर्ज कर जेल भेजा जाए।
10. सभी के राशन कार्ड में नाम व यूनिट जोड़े जाएं, बंद पोर्टल खोला जाए। सार्वजनिक वितरण प्रणाली बहाल की जाए तथा सभी 16 वस्तुओं का उसमें वितरण किया जाए।
11. चार श्रम संहिताएं रद्द कर श्रम कानून बहाल किया जाए।
12. सरकारी प्रतिष्ठानों, रेलवे, रक्षा, बिजली समेत, सभी का निजीकरण तथा सरकारी कार्य में ठेकेदारीकरण बंद किया जाए।
13. पुरानी पेंशन स्कीम पुनः बहाल की जाए।
14. भूमि अधिग्रहण कानून 2013 को सख्ती से अमल किया जाए।
15. सरकारी विद्यालयों और विश्वविद्यालयों में शिक्षा में सुधार किया जाए, शिक्षकों के रद्द पद बहाल किये जाएं।
16. हिट एण्ड रन मामलों में पारित नये कानून की धारा 106 (1) व (2) रद्द किया जाए।
17. आनलाइन मार्केटिंग में बड़ी कम्पनियों पर रोक लगाई जाए, खुदरा व्यापार को बड़ी कम्पनियों के हस्तक्षेप से सुरक्षा व संरक्षण दिया जाए।
18. भवन निर्माण मजदूरों के पंजीयन और पात्र श्रमिकों के हितलाभों की प्रक्रिया का सरलीकरण किया जाए।
19. भविष्य निधि पेंशन राशि ₹10000/- की जाए।
20. बिजली विधेयक 2022को निरस्त किया जाए।
21. बिजली कर्मियों के मार्च 2023 के आंदोलन में बर्खास्त कर्मचारियों को बहाल किया जाए।
22. विकास के नाम पर गरीब जनता के घरों व दुकानों को तोड़ना, बेघर करना बंद हो। बुल्डोजर के मनमाने प्रयोग को बंद हो।
23. महिलाओं, आदिवासियों, दलितों और अल्पसंख्यकों पर बढ़ रहे अत्याचारों के खिलाफ जनप्रतिरोध विकसित किया जाये।
24. जनवादी अधिकारों पर हमले का बंद हो और भारतीय संघ के जनवादी चरित्र और धर्मनिरपेक्षता की रक्षा हो।
25. फिलिस्तीन पर अमेरिका-इस्राइल के हमलों को रोको। फिलिस्तीन में जनसंहार और युद्ध अपराधों के लिए इस्राइल को दंडित करो। इस्राइल में रोजगार के लिए गरीब भारतीयों की भर्ती पर रोक लगे।
पैदल मार्च की अगुवाई सर्वश्री पी एस बाजपेई, असित कुमार सिंह, तारणी कुमार पासवान, मो वशी, डॉक्टर राजेश सिंह, सुश्री हीरावती, रमेश विश्वकर्मा ने किया तथा राष्ट्रपति को सम्बोधित ज्ञापन एच एन तिवारी, गौरव दीक्षित,रानाप्रताप सिंह, धर्मदेव,आर पी कनौजिया, राजीव खरे, योगेश ठाकुर, आर डी गौतम, अशोक तिवारी, मीनाक्षी सिंह,उमाकांत, ओमप्रकाश,ओपी रावत, अक्षय सिंह,देवेंद्र सिंह, आरपी श्रीवास्तव आदि ने उप श्रमायुक्त सुश्री आभा श्रीवास्तव को ज्ञापन सौंपा गया।