श्री कृष्ण भगवान की लीला का हुआ वर्णन महाराज सोनू कृष्ण शास्त्री वृंदावन।
अंशुल वर्मा
गोरखपुर, उत्तर प्रदेश।
भारतीय सर्वधर्म एकता मंच श्री किशोरी वैदिक सेवा संस्थान के तत्वाधान मे आयोजित श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान यज्ञ के पांचवे दिन परिणय स्थली बैंक रोड गोरखपुर मे वृन्दावन धाम से पधारे महाराज परम पूज्य पण्डित सोनू कृष्ण शास्त्री जी महाराज ने भगवान कृष्ण की बाल लीला का वर्णन सुनाया।
महाराज जी ने कहा कि भगवान के पैदा होने के बाद कंस ने श्री कृष्ण भगवान को मौत के घाट उतारने के लिए अपनी राज्य की सर्वाधिक बलवान राक्षसी पूतना को भेजता है। पूतना वेश बदलकर भगवान श्री कृष्ण को अपने स्तन से जहरीला दूध पिलाने का प्रयास करती है। लेकिन भगवान श्री कृष्ण उसको मौत के घाट उतार देते हैंउसके बाद कार्तिक माह में बृजवासी भगवान इंद्र को प्रसन्न करने के लिए पूजन का कार्यक्रम करने की तैय्यारी करते हैं। भगवान कृष्ण द्वारा उनको भगवान इंद्र की पूजन करने से मना करते हुए गोवर्धन महाराज की पूजन करने की बात करते हैं। इंद्र भगवान उन बातो को सुनकर क्रोधित हो जाते है । वो अपने क्रोध से भारी वर्षा करते हैं। जिसको देखकर सभी बृजवासी परेशान हो जाते है। भारी वर्षा को देख भगवान श्री कृष्ण गोवर्धन पर्वत को अपनी कनिष्ठा अंगुली पर उठाकर पुरे नगरवासियों को पर्वत के नीचे बुला लेते ।
जिसके बाद बृज मे भगवान श्री कृष्ण और गोवर्धन महाराज के जयकारे लगने लगते हैं । मौके पर भगवान को छप्पन भोग लगाया गया ।
इस कथा रसपान के अवसर पर भारतीय सर्वधर्म एकता मंच के संस्थापक संरक्षक अशफाक हुसैन मेकरानी, अध्यक्ष प्रवीण कुमार अग्रवाल, डॉ इरफान खान, गोविन्द मिश्रा, रविन्द्र चतुर्वेदी, अतुल निरंजन, सुधीर कुमार अग्रवाल, पंकज अग्रवाल, कैलाश बंसल, शिवम् अग्रहरी, मिन्नत गोरखपुरी, गोविन्द मिश्रा, धीरज, एवं सैकड़ो की संख्या मे महिलाएं बच्चे आदि उपस्थित रहे।